22 October 2015

सच साबित हुए तुलाह पंचायत पर लगे भ्रष्टाचार के आरोप, एसडीएम ने की बड़ी कार्रवाई

लडभड़ोल : पंचायत प्रतिनिधि इसलिए चुने जाते है ताकि व अपने गांव व अपनी पंचायत के लोगों के दुःख दर्द को समझे और उनका निवारण करे लेकिन अगर वहीं पंचायत प्रतिनिधि स्वार्थी होकर सिर्फ अपना ही स्वार्थ देखे तो फिर ऐसे पंचायत प्रतिनिधियों से क्या उम्मीद की जा सकती है।

बीपीएल में धांधली के आरोप हुए सच साबित
लडभड़ोल तहसील की तुलाह पंचायत में ऐसा ही एक मामला सामने आया है जिसमे पचांयत के पूर्व प्रधान रंजीत सिंह चौहान द्वारा वर्तमान पंचायत प्रतिनिधियों पर बीपीएल में शामिल करने के लिए धांधली करके अपने चहेतों को शामिल करने के सभी आरोप जाँच में सच साबित हुए है। आरोप सच साबित होने पर एसडीएम ने कार्यवाही की है।


पूर्व प्रधान ने चयन पर उठाये थे सवाल
एक अख़बार में छपी खबर के अनुसार चौंतड़ा विकास खंड की तुलाह पंचायत में लगभग सात महीने पहले एक ग्राम सभा आयोजित हुई थी जिसमे पंचायत के बीपीएल सूची में लोगों को शामिल किया गया था। पंचायत के पूर्व प्रधान रंजीत सिंह चौहान ने इस सभा में चुने गए बीपीएल परिवारों के चयन पर सवाल उठाये थे। पूर्व प्रधान ने आरोप लगाए थे की फरवरी में आयोजित ग्राम सभा में वर्तमान पंचायत प्रतिनिधियों ने सारे नियमों को ताक पर रखकर अपने कुछ चहेते लोगों को लाभ पहुंचाया था।

ये थे आरोप
आरोप थे की यह आम जान सभा एक बंद कमरे में आयोजित हुई थी तथा कोरम पूरा करने के लिए रजिस्ट्रार के क्रमांक में गड़बड़ी की गयी। यह भी आरोप लगाए गए थे की दो ऐसे लोगों की कोरम में डाला गया था जो पंचायत से सबंध ही नहीं रखते। इसके अलावा पंचायत के सभी वार्ड पांचों को भी बीपीएल सूची में डाला गया था। एक वार्ड पांच के भाई का नाम भी इसमें शामिल किया गया था।


लोगों को बताए 7 लेकिन काट दिए 39 नाम
आम जनसभा में सिर्फ 7 लोगों के नाम बीपीएल सूची से काटने की जानकारी आम लोगों की दी गयी लेकिन जब सुचना के अधिकार के तहत इसकी जानकारी ली गयी तो पता चला की 39 पात्र परिवारों को बीपीएल सूची से बाहर किया गया है और उनकी जगह ऐसे ऐसे लोगों शामिल किये गए जिनके पास पक्के मकान, गाड़ियां तथा अच्छी खासी जमीन है। बीपीएल सूची में कुछ ऐसे लोग भी शामिल किये गए थे जो विदेशी कंपनियों से हज़ारों रूपए की सैलरी लेते है। इन लोगों को भी गरीबी रेखा से नीचे बताया गया था।

दीप्ति मंढ़ोत्रा ने की बड़ी कार्रवाई
एसडीएम दीप्ति मंढोत्रा ने इस मामले की जांच विकास खंड अधिकारी चौंतड़ा को सौंपी थी तथा जांच पूर्व प्रधान द्वारा लगाए गए आरोप सही पाए गए है। विकास खंड अधिकारी जांच में पाया है कि बीपीएल सूची में साधन संपन्न लोगों को डालकर भ्रष्टाचार किया गया है और पात्र लोगों को बाहर किया गया है। आरोप सच साबित होते ही उपमंडलाधिकारी नागरिक दीप्ति मंढ़ोत्रा ने बड़ी कार्रवाई अमल में लाई है। उन्होंने इस ग्राम सभा को तत्काल प्रभाव से रद कर दिया है।


दीप्ति मंढ़ोत्रा का बयान
इस आम सभा के रद्द होने के बाद अब दोबारा ग्राम सभा का आयोजन कर नए बीपीएल के परिवारों का चयन होगा। एसडीएम जोगेंद्रनगर दीप्ति मंढोत्रा ने बताया की यह मामला मेरे ध्यान में लाया गया था जिसमें शिकायतकर्ता पूर्व उप-प्रधान के आरोप काफी हद तक सही पाए गए। पंचायती राज एक्ट के तहत कार्रवाई करके इस ग्रामसभा को पूरी तरह निरस्त करने के आदेश पारित किए गए हैं और अगली कार्रवाई के लिए यह मामला प्रदेश सरकार के सामने भेजा गया है।





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